औरंगाबाद। व्यवहार न्यायालय औरंगाबाद के जिला जज रजनीश कुमार श्रीवास्तव ने मुफ्फसिल थाना कांड संख्या 191/19 में निर्णय पर सुनवाई करते हुए एकमात्र काराधिन बंदी अभियुक्त करहरा गांव निवासी नीतीश कुमार को भादंसं 304 बी में दोषी करार दिया है। लोक अभियोजक पुष्कर अग्रवाल ने बताया कि अभियुक्त 16.10.19 से जेल में बंद हैं जिस पर दहेज हत्या का आरोप हैं।
घटना के संबध में बताया जाता है कि 22.08.19 को अभियुक्त ने अपनी पत्नी रंजू देवी की हत्या कर दी थी जिसमें दोषी पाते हुए, आज सज़ा के बिंदु पर सुनवाई की तिथि 14.12.22 को निर्धारित किया गया है। अधिवक्ता सतीश कुमार स्नेही ने बताया कि प्राथमिकी सूचक मृतका के चाचा ढिबरा थाना अंतर्गत मुरारपुर गांव निवासी नंदू यादव थे जिन्होंने बताया कि था कि दो लाख नगद, सोना की चैन, विदाई की सामग्रियां देकर वर्ष 2018 की मई माह में धुमधाम से भतीजी की शादी किया गया। लेकिन शादी के कुछ ही माह बाद से ससुराल वाले दहेज की मांग करने लगे जिसमें दहेज़ पूर्ति ना होने पर लोभियों ने उसकी हत्या कर दी।
इसके बाद घटना की जानकारी गांव वालों से मिली जिसमें आनन-फानन में सदर अस्पताल औरंगाबाद पहुंचा। जहां ससुराल वाले भतीजी की शव को छोड़ फरार हो गए। इसके बाद घटना की सूचना पर पहुंची पुलिस ने शव का पोस्टमार्टम करवाया। अधिवक्ता ने बताया कि इस साल बड़ी संख्या में दहेज हत्यारोपियों को विभिन्न स्थानीय कोर्ट परिसर में सज़ा सुनाई गई है। इसके वावजूद जिले में दहेज हत्या के मामले थमने का नाम नहीं ले रहे हैं।