औरंगाबाद। पांच साल पुरानी अभियोग में सुनवाई करते हुए व्यवहार न्यायालय औरंगाबाद के न्यायिक दंडाधिकारी प्रथम श्रेणी नेहा ने कुटुंबा थाना प्रभारी को शॉकोज किया हैं। आरोप है कि पिछले पांच सालों में बिसरा रिपोर्ट को न्यायालय में प्रस्तुत नहीं किया जिसमें लापरवाही व कोर्ट की अवमानना मानते हुये यह कार्रवाई की गई। वहीं मामले में अगली तिथि 06.12.22 को निर्धारित की गई है।
अधिवक्ता सतीश कुमार स्नेही ने बताया कि इस वाद में अब तक दिनांक 29.09.22 एवं 02.11.22 को कोर्ट में रिपोर्ट प्रस्तुत किया जाना था लेकिन अब तक नहीं किया गया। अभियोगी के अधिवक्ता कमलेश कुमार सिंह ने बताया कि कुटुंबा थाना की यूडी मुकदमा संख्या 02/17 में अभियोगी धमनी सोनभद्र निवासी नंदलाल सोनी ने मामले में ससुराल वालों पर अपने बच्चें की हत्या का साक्ष्य छुपाने का आरोप लगाया था। मामले में ससुराल वालों ने बच्चें की मौत प्राकृतिक बताया था।
इसके बाद अभियोगी ने न्याय के लिए न्यायालय में वाद प्रस्तुत किया था जिसमें पिछले पांच सालों से बिसरा रिपोर्ट न्यायालय में समर्पित नहीं करने के कारण मामला लंबित हैं।