मगध हेडलाइंस: औरंगाबाद। सिक्किम राज्य की राजधानी गंगटोक से औरंगाबाद आए दंपत्ति ने चार माह की एक अनाथ बच्ची को गोद लिया। ज़िला पदाधिकारी सौरभ जोरवाल और समन्वयक विशेष दत्तक ग्रहण संस्थान के पदाधिकारियों की मौजूदगी में बच्चे को गोद देने से जुड़ी प्रक्रिया को पूरा किया गया जिस बच्चे को दंपती ने गोद लिया है अब वह गंगटोक में ही पले-बढ़ेगी। बच्ची पाकर दंपत्ति के चेहरे खिल उठे, उन्होंने कहा कि मेरा अधुरा परिवार अब पूरा हुआ।
इस अवसर पर जिला पदाधिकारी ने दंपत्ति को बच्ची का पालन-पोषण एवं देखभाल उचित रीति से करने हेतु अनुरोध की एवं बच्ची के विकास से संबंधी जानकारी समय-समय पर संबंधित संस्थान को उपलब्ध करवाते रहने को कहा गया। उक्त बच्चे को अग्रेतर कानूनी प्रक्रिया पूर्ण करने के उपरांत दो मास के पहले दत्तकग्रहण में संबंधित दंपत्ति को दिये जाने संबंधी निर्णय जिला पदाधिकारी द्वारा जारी किया जायेगा।
विदित हो कि जिला अंतर्गत प्राप्त 0-6 वर्ष के देखरेख एवं संरक्षण के जरूरतमंद ( अनाथ, निराश्रित एवं परित्यक्त) बच्चों को बाल कल्याण समिति औरंगाबाद के आदेशानुसार विशिष्ट दत्तक ग्रहण संस्थान में आवासन कराया जाता है। वैसे बच्चे जिनके माता-पिता, अभिभावक एवं रिश्तेदार की खोज नहीं की जा सकती उनको दत्तकग्रहण विनिमय, 2022 के प्रावधानानुसार उपयुक्त दम्पति को कानूनी रूप से गोद दिया जाता है। अवैध रूप से गोद लेना एवं देना दंडनीय अपराध है अनाथ निराश्रित एवं परित्यक्त बच्चों को गोद देने हेतु जिले में विशिष्ट दत्तकग्रहण संस्थान फैसिलिटेशन सेन्टर के रूप में कार्य करती है।
गोद लेने वाले कोई भी इच्छुक दम्पति अपना ऑनलाईन निबंधन सेंट्रल एडॉप्शन रिसोर्स अथॉरिटी (Central Adoption Resource Authority) के बेवसाईट पर करा सकते हैं। गोद लेने-देने की सारी प्रक्रिया ऑनलाईन है।